56वीं राष्ट्रीय खो-खो चैंपियनशिप की शुरुआत बुधवार (27 मार्च) से हो गई है। इस चैंपियनशिप में देश भर के 37 राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों से 1300 से अधिक पुरुष और महिला खिलाड़ियों की 73 टीमें हिस्सा ले रही हैं। पूर्व लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने इंदिरा गांधी खेल परिसर में इस चैंपियनशिप का उद्घाटन किया। 56वीं राष्ट्रीय खो-खो चैंपियनशिप के उद्घाटन समारोह के दौरान भारतीय खो-खो महासंघ के अध्यक्ष सुधांशु मित्तल, महासचिव एमएस त्यागी, वरिष्ठ आरएसएस नेता रामलाल और भाजपा सांसद रमेश बिधूड़ी ने कार्यक्रम की मुख्य अतिथि सुमित्रा महाजन के साथ खो-खो चैंपियनशिप के मस्कट 'धाकड़' का अनावरण भी किया।
इस मौके पर उपस्थित खिलाड़ियों और ट्रेनर्स को संबोधित करते हुए सुमित्रा महाजन ने कहा कि वह खुद भी यह खेल खेल चुकी हैं और अब इसे बढ़ावा देकर खुश हैं। स्वदेशी खेलों को बढ़ावा देने की भारत सरकार की योजना के बारे में सुमित्रा महाजन ने कहा कि भारत सरकार ने स्वदेशी खेलों को बढ़ावा देने के लिए खेलो इंडिया की शुरुआत की। खेलो इंडिया के बाद कई खिलाड़ियों ने विभिन्न खेलों में अपनी प्रतिभा दिखाई है। भारतीय खो-खो महासंघ के अध्यक्ष सुधांशु मित्तल इस खेल को बढ़ावा देने में सबसे आगे हैं और उनके नेतृत्व में केकेएफआई एक नई राह पर चल पड़ा है। भारतीय खेलों को बढ़ावा देना सरकार की प्राथमिकता है। हमें आशा ही नहीं बल्कि विश्वास है कि भविष्य में खो-खो भारतीय खेल के रूप में विश्व में अपनी पहचान मजबूत करेगा।
इस बीच सुधांशु मित्तल ने कहा कि देश भर से इतनी जबरदस्त भागीदारी के साथ दिल्ली 56वीं राष्ट्रीय खो-खो चैंपियनशिप की मेजबानी करके रोमांचित है। सुधांशु मित्तल ने कहा कि खो-खो सिर्फ एक खेल नहीं है, यह भारत के लोगों के लिए एक भावना है। जो भारतीय लोगों को एकजुट करता है। हमें प्रतिभाशाली खिलाड़ियों को अपना कौशल दिखाने और अगली पीढ़ी के खो-खो खिलाड़ियों को प्रेरित करने के लिए एक मंच प्रदान करने पर गर्व है।