नई दिल्ली। देश में पशुओं की कुल संख्या वर्ष 2012 के मुकाबले 4.6 प्रतिशत बढकर 53 करोड़ 57 लाख 80 हजार हो गयी है। इसमें मादा दुधारु पशुओं की संख्या में 18 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गयी है जो किसानों के लिए लाभदायक है। पशुपालन और डेयरी विभाग की ओर से 20 वीं पशु गणना में इनकी संख्या में वृद्धि हुयी है । गणना के अनुसार वर्ष 2019 में दुधारु मवेशी , भैंस ,गाय , मिथुन और याक की कुल संख्या 30 करोड़ 27 लाख 90 हजार है इसमें एक प्रतिशत की बढोतरी हुयी है । नर पशु 0.8 प्रतिशत बढकर 19 करोड़ 24 लाख 90 हजार हो गये हैं। मादा पशुओं की संख्या में 18 प्रतिशत की वृद्धि हुयी है ।
इनकी संख्या 14 करोड 51 लाख 20 हजार दर्ज की गयी है संकर नस्ल के पशुओं की संख्या पांच करोड़ चार लाख बीस हजार है । जिन पशुओं की नस्ल की पहचान नहीं हुयी है उनकी संख्या 14 करोड़ 21 लाख 10 हजार है । विभाग का कहना है कि पशु गणना से न केवल नीति निर्माण में मदद मिलेगी बल्कि यह कृषिविदों , करोबारियों , उद्यमियों , डेयरी उद्योग और आम लोगों के लिए लाभदायक होगी । भेंस की कुल संख्या 10 करोड़ 98 लाख 50 हजार है इसमें एक प्रतिशत की वृद्धि हुयी है । भेड़ की कुल संख्या 14.1 प्रतिशत बढकर सात करोड़ 42 लाख 60 हजार और बकरियों की संख्या 10.1 प्रतिशत बढकर 14 करोढ़ 88 लाख 80 हजार हो गयी है ।
हालांकि सुअर की कुल संख्या 12.03 प्रतिशत घटकर 90 लाख 60 हजार रह गयी है । कुल पशुओं में मिथुन , याक ,घोड़े , खच्चर , गदहा और ऊंट की कुल हिस्से दारी 0.23 प्रतिशत है । इनकी कुल संख्या 12 लाख 40 हजार है। देश में मुर्गे मुर्गियों की कुल संख्या 16.8 प्रतिशत बढकेर 85 करोड़ 18 लाख 10 हजार हो गयी है । घरों में पाले जाने वाले कुल पक्षियों की संख्या 31 करोड़ 70 लाख 70 हजार हो गयी है । इसमें 46 प्रतिशत की वृद्धि हुयी है। व्यावसायिक रुप से मुर्गी पालन में पक्षियों की संख्या 53 करोड़ 47 लाख 40 हजार है जिसमें पिछली गणना की तुलना में 4.5 प्रतिशत की वृद्धि हुयी है ।