क्या आपने कभी ऐसी जनजाति के बारे में सुना है जहाँ 6 महीने तक केवल गाय के दूध और खून का मिश्रण पी कर ही जिंदा रहना पड़े। इस बात पर विश्वास करना कठिन है और यहाँ तक कि इस के बारे में सोच कर ही बहुत से लोगों को काफी अजीब लग सकता है, लेकिन दक्षिण पश्चिम इथोपिया कि बोदी जनजाति में इसे गर्व और सम्मान माना जाता है।
दक्षिण पश्चिम इथोपिया की ओमो वैली में बोदी जनजाति रहती है। आपको यह जान कर आश्चर्य होगा कि यहाँ पर सब से मोटे इंसान को एक हीरो की तरह माना जाता है। जी हाँ आपने सही सुना। यहाँ हर साल एक खास समारोह का आयोजन किया जाता है, जिसके माध्यम से यह पता लगाया जाता है कि बिरादरी का सब से मोटा शख्स कौन है। इस में हिस्सा लेने के लिए लोग 6 महीने तक गाय का दूध और खून पीते हैं।
हर साल जून के महीने में लोग इस समारोह का आयोजन करते हैं, जिसे काएल कहा जाता है। इस दौरान हर एक बिरादरी से एक मोटे शख्श की तलाश की जाती है। इसमें परिवार के अविवाहित पुरुष हिस्सा ले सकते हैं। अगर वे इस समारोह के लिए चुने जाते हैं तो उन्हें अपने घर से दूर तो रहना ही पड़ता है साथ ही वे किसी महिला के साथ संबंध भी नहीं बना सकते हैं। उन्हें अपने परिवार से दूर एकांत में रहना होता है।
क्योकिं इस दौरान उन्हें वजन बढ़ाना होता है, इसलिए वे गाय का दूध और खून पीते हैं। लेकिन बोदी जनजाति वाले गाय को पवित्र मानते हैं, इसलिए ये गायों की हत्या नहीं करते हैं। इसके बजाय ये किसी धारदार हथियार से उनकी नस में छेद करते हैं, और खून को बाहर आने देते हैं। इसके बाद क्ले से इस छेद को बंद भी कर दिया जाता है। इसके बाद इसे दूध में मिलाया जाता है और इसी का सेवन उन पुरुषों को करना होता है। इस प्रतियोगिता में जो पुरुष जीतता है उसका जिंदगी भर सम्मान किया जाता है और उसकी जनजाति में वही इज्जत होती है जैसे कि किसी राजा की होती है। जिस दौरान पुरुष सब से दूर एकांत में रहता है उस दौरान परिवार की महिलाएं ही उनके लिए यह मिश्रण ले कर जाती है।