नई दिल्ली। सीमा विवाद को लेकर चीन के धोखे की एक और तस्वीर सामने आई है। ताजा सैटेलाइट तस्वीरों में पता चला है कि चीनी सेना विवाद वाले स्थान से ज्यादा पीछे नहीं है। पूर्वी लद्दाख में भारतीय सीमा के पास लगातार मिसाइलें और घातक हथियार तैनात कर रहे चीन ने पैंगोंग झील से सटकर अपनी सेना को तैनात कर रखा हुआ है। करीब छह महीने पहले भारत और चीन के बीच पैंगोंग झील के इलाके से सेना को पीछे हटाने और गश्त नहीं लगाने पर सहमति बनी थी। जिसका मतलब है कि चीन कभी भी पुरानी कहानी दोहरा सकता है। करीब छह महीने पहले भारत-चीन के बीच पैंगोंग झील इलाके से सेना को पीछे हटाने और गश्त नहीं लगाने पर सहमति बनी थी। इसके बाद चीन ने सेना को पैंगोंग झील के फिंगर 4 से हटाकर फिंगर 8 के पीछे तैनात कर दिया था। अब सैटेलाइट इमेज से खुलासा हुआ है कि चीनी सेना विवाद वाले पॉइंट के ठीक पास मौजूद है।
ओपन इंटेलिजेंस सोर्स detresfa की रिपोर्ट के मुताबिक पैंगोंग झील से सटकर मौजूद चीनी सेना पीएलए के ठिकाने पर बड़ी संख्या में चीनी सैनिक मौजूद हैं। यह पीएलए का ठिकाना गश्त नहीं लगाने के लिए हुए समझौता स्थल से मात्र कुछ ही दूरी पर स्थित है। इन तस्वीरों से यह भी पता चलता है कि चीन और भारत के बीच सीमा विवाद अभी बना हुआ है। चीन ने अपने इस अड्डे पर रक्षात्मक खाई, ईंधन टैंक, सैनिकों के रहने के स्थान आदि बना रखे हैं।
धीरे-धीरे संख्या बढ़ा रही PLA
Detresfa की रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि चीन ने यरकांट एयरपोर्ट का संचालन फिर से शुरू कर दिया है, जिसका मकसद पूर्वी लद्दाख में भारतीय एयरफोर्स को काउंटर करना है। एक अन्य रिपोर्ट की मानें तो चीन ने गलवान हिंसा के दौरान तैनात सैनिकों की संख्या से 15 हजार ज्यादा जवानों को इस बार तैनात किया हुआ है। पीपुल्स लिबरेशन आर्मी ने पिछले कुछ महीनों में धीरे-धीरे जवानों की उपस्थिति को बढ़ाकर 50 हजार से ज्यादा कर दिया है।
Indian Army भी अलर्ट
वहीं, भारत भी वास्तविक नियंत्रण रेखा (LAC) पर चीन की गतिविधियों को लेकर सतर्क है। भारतीय सेना ने सीमा पर अतिरिक्त जवानों की तैनाती की है। इसके अलावा, ड्रैगन की हर हरकत पर नजर रखी जा रही है, ताकि कुछ भी गलत होने पर उसका मुंहतोड़ जवाब दिया जा सके। गौरतलब है कि लद्दाख हिंसा के बाद से दोनों देशों में तनाव बरकरार है। कई राउंड बातचीत के बाद भी विवाद पूरी तरह सुलझा नहीं है। इसकी सबसे बड़ी वजह है चीन का हर पल कोई नई चाल चलना।
ओपन इंटेलिजेंस सोर्स detresfa की रिपोर्ट के मुताबिक पैंगोंग झील से सटकर मौजूद चीनी सेना पीएलए के ठिकाने पर बड़ी संख्या में चीनी सैनिक मौजूद हैं। यह पीएलए का ठिकाना गश्त नहीं लगाने के लिए हुए समझौता स्थल से मात्र कुछ ही दूरी पर स्थित है। इन तस्वीरों से यह भी पता चलता है कि चीन और भारत के बीच सीमा विवाद अभी बना हुआ है। चीन ने अपने इस अड्डे पर रक्षात्मक खाई, ईंधन टैंक, सैनिकों के रहने के स्थान आदि बना रखे हैं।
धीरे-धीरे संख्या बढ़ा रही PLA
Detresfa की रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि चीन ने यरकांट एयरपोर्ट का संचालन फिर से शुरू कर दिया है, जिसका मकसद पूर्वी लद्दाख में भारतीय एयरफोर्स को काउंटर करना है. एक अन्य रिपोर्ट की मानें तो चीन ने गलवान हिंसा के दौरान तैनात सैनिकों की संख्या से 15 हजार ज्यादा जवानों को इस बार तैनात किया हुआ है. पीपुल्स लिबरेशन आर्मी ने पिछले कुछ महीनों में धीरे-धीरे जवानों की उपस्थिति को बढ़ाकर 50 हजार से ज्यादा कर दिया है.
Indian Army भी अलर्ट
वहीं, भारत भी वास्तविक नियंत्रण रेखा (LAC) पर चीन की गतिविधियों को लेकर सतर्क है. भारतीय सेना ने सीमा पर अतिरिक्त जवानों की तैनाती की है. इसके अलावा, ड्रैगन की हर हरकत पर नजर रखी जा रही है, ताकि कुछ भी गलत होने पर उसका मुंहतोड़ जवाब दिया जा सके. गौरतलब है कि लद्दाख हिंसा के बाद से दोनों देशों में तनाव बरकरार है. कई राउंड बातचीत के बाद भी विवाद पूरी तरह सुलझा नहीं है. इसकी सबसे बड़ी वजह है चीन का हर पल कोई नई चाल चलना.