भोपाल। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह ने आज कहा कि वे राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के स्वदेशी आंदोलन के समर्थक रहे हैं और 'स्वदेशी' के लिए कार्य करने वाले के एन गोविंदाचार्य से उनकी काफी अच्छी मित्रता भी है। मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री सिंह ने यहां वीडियो कांफ्रेसिंग के माध्यम से पत्रकारों से चर्चा के दौरान मौजूदा नरेंद्र मोदी सरकार के 'लोकल के लिए वोकल' संबंधी नीति के बारे में पूछे जाने पर यह टिप्पणी की। सिंह ने कहा कि वे स्वदेशी पर जोर देने के कारण संघ के समर्थक रहे हैं। इस दिशा में गोविंदाचार्य ने काफी कार्य किया है, लेकिन वर्तमान दौर में उन्हें ही अलग कर दिया गया।
सिंह ने कहा कि वास्तव में 'लोकल' को 'वोकल' करना है तो गोविंदाचार्य को देश की नीतियां निर्धारित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाले नीति आयोग में लाना चाहिए। उन्होंने कहा कि लेकिन केंद्र सरकार ऐसा नहीं करेगी। वास्तव में स्वदेशी और आत्मनिर्भरता की विचारधारा महात्मा गांधी की विचारधारा है। यही गांधीजी का मूल मंत्र था।
लोकल की बात करने वालों को हिंद स्वराज की किताबें पढ़ना चाहिए। कांग्रेस नेता ने कहा कि मौजूदा दौर में खादी पर सब्सिडी समाप्त कर दी गयी। छोटे उद्योग धंधे बंद हो रहे हैं। बड़े उद्योगों को लाभ हो रहा है। अमीर और अमीर हो रहा है और गरीब, गरीब होता जा रहा है। सिंह ने इसके साथ ही दलबदल कानून में बदलाव की जरुरत बताते हुए कहा कि ऐसा करने वालों के चुनाव लड़ने पर ही प्रतिबंध लगना चाहिए। इस तरह के सख्त प्रावधानों के जरिए ही दलबदल को रोका जा सकता है।
इसी से संबंधित अन्य सवालों के जवाब में सिंह ने कहा कि राज्य में लगभग ढाई माह पहले कांग्रेस छोड़कर धोखा देते हुए भाजपा में जाने वालों सभी 24 तत्कालीन विधायकों को पार्टी आगामी विधानसभा उपचुनावों में पराजित करने के लिए पूरा जोर लगाएगी। उन्होंने कहा कि ज्योतिरादित्य सिंधिया को कांग्रेस छोड़कर जाने की ही जरुरत नहीं थी, लेकिन ऐसा करके उन्होंने लोकतंत्र और विधानसभा चुनाव 2018 के जनादेश की अवहेलना की है।
विधानसभा उपचुनाव में स्वयं की भूमिका के बारे में पूछे जाने पर सिंह ने कहा कि पार्टी जो भी निर्णय देगी, वो करने के लिए वे तैयार हैं। सिंह ने एक सवाल के जवाब में कहा कि उनके और कमलनाथ के बीच बेहतर संबंध हैं और लगभग प्रत्येक हप्ता दस दिन में उनकी मुलाकात भी होती है। इस संबंध में भ्रम फैलाने का प्रयास किया जा रहा है। लेकिन सच्चायी यह है कि वे दोनों मित्र हैं और यह क्रम चार दशकों से चल रहा है। एक अन्य सवाल के जवाब में सिंह ने कहा कि वे कांग्रेस में रहते हुए पार्टी को ही धोखा देने वाले चौधरी राकेश सिंह चतुर्वेदी की कांग्रेस में वापसी के पक्ष में नहीं है।
सिंह ने कोरोना को लेकर देश के वर्तमान हालातों पर चिंता जताते हुए कहा कि वास्तव में लॉकडाउन के संबंध में केंद्र सरकार को निर्णय सभी मुख्यमंत्रियों से चर्चा करके लेना चाहिए था। लॉकडाउन लागू करने के दौरान लोगों को मात्र चार घंटे का समय दिया गया, जो पर्याप्त नहीं था और सभी लोग परेशान हो गए। जबकि देश में कोरोना के मामले अब भी बढ़ रहे हैं।
एक अन्य सवाल के जवाब में सिंह ने कहा कि वे विदेशी मामलों के विशेषज्ञ तो नहीं हैं, लेकिन विदेश नीति को लेकर कांग्रेस की नीति सदैव साफ रही है कि पड़ोसी देशों के साथ रिश्ते बेहतर होने चाहिए। नेपाल भी हमारा पड़ोसी देश है। वर्तमान में पड़ोसी देशों के साथ हमारे रिश्ते कैसे हैं, यह सब जानते हैं।