भोपाल। मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि प्रदेश में कोरोना से बचाव में उपचार के सर्वश्रेष्ठ कार्य किए जाएं। चौहान आज मंत्रालय में वरिष्ठ अधिकारियों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से प्रदेश में कोरोन स्थिति एवं व्यवस्थाओं की समीक्षा कर रहे थे। उन्होंने कहा कि कोरोना मरीजों को अच्छे से अच्छा इलाज मिले। जिनमें भी कोरोना के लक्षण दिखें वे तुरंत टेस्ट करवाएं। संक्रमित जिलों में चिन्हित किए गए हॉटस्पॉट को पूरी तरह सील करें।
वहां आवश्यक वस्तुएं, दूध, दवाई आदि की सप्लाई जिला प्रशासन के माध्यम से की जाए। मुख्यमंत्री निर्देश दिए कि प्रदेश में कोरोना से प्रभावित 15 जिलों के हॉटस्पॉट क्षेत्रों को पूरी तरह सील किया जाए। कोरोना से प्रभावित 03 जिलों भोपाल इंदौर में उज्जैन को पहले ही पूरा सील किया जा चुका है। हॉटस्पॉट क्षेत्रों में आवश्यक वस्तुओं, दवाओं दूध आदि की सप्लाई जिला प्रशासन के माध्यम से की जाएगी। इन क्षेत्रों में आना-जाना पूर्णतया प्रतिबंधित रहेगा। मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि यह सुनिश्चित किया जाए कि कहीं भी सप्लाई चैन प्रभावित ना हो।
प्रदेश के 15 जिलों के कुल 46 क्षेत्रों को हॉटस्पॉट घोषित किया गया है, जहां कोरोना संक्रमण के मामले मिले हैं। जबलपुर जिले के 8, ग्वालियर जिले के 6, खरगोन जिले के पांच, मुरैना का एक, शिवपुरी का एक, बड़वानी के 5, बैतूल का एक, विदिशा के दो, श्योपुर का एक, छिंदवाड़ा के पांच, रायसेन का एक, होशंगाबाद के तीन, खंडवा के दो, धार का 1 तथा देवास जिले के चार क्षेत्रों को हॉटस्पॉट घोषित किया गया है। इन सभी क्षेत्रों को सील करने के निर्देश दिए गए हैं।
प्रमुख सचिव स्वास्थ्य ने बताया कि प्रदेश में कोरोनावायरस की संख्या 397 हो गई है, जिनमें से 24 व्यक्तियों की मृत्यु हुई है। इंदौर में संक्रमित मरीजों की संख्या 221, भोपाल में 98 उज्जैन में 11 तथा मुरैना, खरगोन एवं बड़वानी में 12-12 है यह जिले कोरोना से अधिक संक्रमित हैं। मुख्य सचिव इकबाल सिंह बैंस ने बताया कि हमारी कोरोनावायरस क्षमता 250 प्रतिदिन हो गई है टेसिंटग किड्स पर्याप्त संख्या में उपलब्ध है। इसी प्रकार पीपीई कीटस भी पर्याप्त संख्या में प्राप्त हो रही हैं। बैठक में बताया गया कि प्रदेश के अधिकांश कोरोना मरीज़ ठीक हो कर घर जा रहे हैं।
इंदौर के ही आज 16 कोरोना मरीज ठीक होने के उपरांत डिस्चार्ज कर दिए गए तथा एक दिवस उपरांत 10 मरीजों को और डिस्चार्ज कर दिया जाएगा। मुख्यमंत्री निर्देश दिए थे टेलीमेडिसिन के माध्यम से देशभर के चिकित्सकों द्वारा सामान्य रोगों के इलाज की व्यवस्था ऑनलाइन की गई है। सभी जिलों में कलेक्टर इस सेवा का लाभ लोगों को दिलाएं तथा स्थानीय चिकित्सकों को भी इससे जोड़ा जाए। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में एक बड़ा आयोजन आईफा होने वाला था।
वर्तमान में कोरोना संकट के चलते यदि आईफा पर व्यय होने वाली राशि कोरोना सहायता के लिए मुख्यमंत्री राहत कोष में दी जाती है, तो उससे बड़ी संख्या में जनता को सहायता दी जा सकती है। चौहान ने बताया कि कोरोना संकट के मद्देनजर राशन कार्ड धारियों के अलावा ऐसे अन्य 25 श्रेणियों के व्यक्तियों को भी निशुल्क राशन प्रदाय किया जा रहा है, जो जरूरतमंद है।
बैठक में प्रमुख सचिव स्वास्थ्य द्वारा मुख्यमंत्री चौहान के समक्ष पावर पॉइंट प्रेजेंटेशन के माध्यम से प्रदेश में कोरोना संकट से निबटने की विस्तृत कार्ययोजना "स्टेट रिस्पांस स्ट्रेटजी कोविड-19" प्रस्तुत की। मुख्यमंत्री चौहान द्वारा भारत सरकार के निर्देशों एवं आईसीएमआर की गाइडलाइंस के अनुरूप कार्य योजना को प्रभावी ढंग से प्रदेश में लागू किए जाने के निर्देश दिए गए।