नई दिल्ली। सबड़े रबर क्लस्टर वाले राज्यों से भारी संख्या में मजदूरों के पलायन कर जाने के बाद रबर स्किल डेवलपमेंट काउंसिल (आरएसडीसी) ने वहां स्थानीय लोगों को विभिन्न कार्यों के लिए प्रशिक्षित करना प्रारंभ किया है, ताकि रबर मैन्यूफैक्चरिंग प्लांट सुचारू तरीके से काम कर सकें। आरएसडीसी के अध्यक्ष विनोद साइमन ने आज कहा कि महाराष्ट्र, गुजरात, पंजाब एवं हरियाणा तथा दक्षिणी राज्यों जैसे केरल, तमिलनाडु, आंध्र प्रदेश, तेलंगाना से भी बड़े पैमाने पर मजदूरों का पलायन हुआ है। संयोगवश ये ऐसे राज्य हैं जहां बड़ी संख्या में रबर मैन्यूफैक्चरिंग इकाइयां हैं।
मजदूरों के चले जाने से इन मैन्यूफैक्चरिंग प्लांट्स को समस्या का सामना करना पड़ रहा है। इन इकाइयों में स्थानीय और कुशल मानव संसाधन की मांग बढ़ी है। इसे देखते हुए हमने रबर मैन्यूफैक्चरिंग प्लांट्स की जरूरत वाली भूमिकाओं के हिसाब से स्थानीय लोगों के कौशल विकास का लक्ष्य रखा है। इसी के साथ-साथ, आरएसडीसी ने उत्तर प्रदेश, बिहार और झारखंड राज्यों से भी हाथ मिलाया है, जहां इन दिनों बड़ी संख्या में प्रवासी मजदूरों ने घर वापसी की है।
इन मजदूरों को भी बड़ी संख्या में रोजगार की आवश्यकता है। इन्हें मिल ऑपरेटर, मॉल्डिंग ऑपरेटर, मिक्सिंग ऑपरेटर जैसी विभिन्न भूमिकाओं के लिए प्रशिक्षित किया जा रहा है। साइमन ने आगे कहा कि अपने गृह राज्यों में वापस लौटे ज्यादातर प्रवासी मजदूरों को रोजगार की जरूरत है। इसलिए स्किल काउंसिल आरएसडीसी ने इनके कौशल प्रशिक्षण और उन्हें स्थानीय स्तर पर रोजगार पाने या स्वरोजगार के लिए प्रोत्साहित करने व सहयोग करने का बीड़ा उठाया है।
निकट भविष्य में ऐसे करीब 30,000 प्रवासियों को कौशल प्रशिक्षण देने की योजना बनायी गयी है। प्रशिक्षण पूरा होने के बाद ऐसे लोगों टायर सर्विस या रबर प्रोसेसिंग से जुड़े सेक्टर में अपना खुद का काम शुरू करने के लिए भी प्रोत्साहित किया जाएगा। उन्होंने कहा कि कौशल प्रशिक्षण का पाठ्यक्रम और तरीका भी मौजूदा महामारी को देखते हुए बदला गया है। प्रशिक्षण देते समय नए दिशानिर्देशों का पालन किया जाएगा और एक-दूसरे से संपर्क को कम से कम रखा जाएगा।
जहां संभव होगा, वहां कुछ प्रशिक्षण ऑनलाइन माध्यमों से भी दिया जाएगा। रबर सेक्टर में कौशल प्रशिक्षण के अतिरिक्त आरएसडीसी प्रशिक्षुओं को डिजिटल स्किल से भी लैस करने पर विचार कर रहा है। इससे उन्हें अपने प्रदर्शन को बेहतर करने और अपने आपको रोजगार के ज्यादा योग्य बनाने में भी मदद मिलेगी। आरएसडीसी ऑनलाइन ट्रेनिंग कंटेंट भी तैयार कर रहा है और छात्रों, पेशेवरों, प्रशिक्षकों और अन्य के लिए एक इन-हाउस प्लेटफॉर्म भी तैयार किया है, जिसकी मदद से मोबाइल, लैपटॉप, टैब आदि पर ई-लर्निंग कंटेंट मिल सकेगा।