लखीमपुर खीरी। कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी, भारतीय किसान यूनियन के नेता राकेश टिकैत, रालोद अध्यक्ष जयंत चौधरी, विभिन्न राज्यों के किसान और बड़ी संख्या में लोग तिकुनिया में मंगलवार को चार किसानों और एक पत्रकार को श्रद्धांजलि देने के लिए 'अंतिम अरदास' कार्यक्रम में एकत्र हुए। प्रियंका ने कहा, ''आज मैं अंतिम अरदास की सभा में आई हूं, इसलिए कुछ बोलूंगी नहीं, हां यह जरूर है कि अंतिम सांस तक किसानों के लिए न्याय की लड़ाई लड़ूंगी।'' वहीं, भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने गृह राज्य मंत्री अजय कुमार मिश्रा को उनके पद से बर्खास्त नहीं करने पर आंदोलन तेज करने की चेतावनी दी। लखीमपुर खीरी जिले के तिकुनिया में हुई घटना में चार किसानों सहित आठ लोगों की मौत हुई थी जहां आज आयोजित 'अंतिम अरदास' कार्यक्रम को संबोधित करते हुए टिकैत ने कहा कि मृतकों की अस्थियों के साथ शहीद किसान यात्रा देश के सभी राज्यों और उत्तर प्रदेश के सभी जिलों में जाएगी। उन्होंने कहा कि 15 अक्टूबर विजयादशमी के दिन, भाजपा सरकार की किसान विरोधी नीतियों को उजागर करने के लिए प्रधानमंत्री, गृह मंत्री समेत भाजपा नेताओं के पुतले जलाए जाएंगे। उन्होंने किसानों से कहा कि 18 अक्टूबर को सुबह 10 बजे से शाम चार बजे तक रेल रोको आंदोलन शुरू किया जाएगा, जबकि 26 अक्टूबर को संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) के तत्वावधान में लखनऊ में महापंचायत होगी। अंतिम अरदास में संयुक्त किसान मोर्चा के नेताओं ने भी मृतक किसानों और एक पत्रकार को श्रद्धांजलि दी तथा तिकुनिया हिंसा की निंदा की।
पिछले नौ अक्टूबर को दिल्ली में संयुक्त किसान मोर्चा के नेताओं ने लखीमपुर हिंसा के विरोध में राष्ट्रव्यापी आंदोलन चलाने का ऐलान किया था। एसकेएम नेता योगेंद्र यादव ने पत्रकारों को बताया था कि आंदोलन के तहत 18 अक्टूबर को रेल रोको आंदोलन और 26 अक्टूबर को लखनऊ में किसान महापंचायत होगी। किसान नेताओं में टिकैत के अलावा दर्शन सिंह पाल, जोगिंदर सिंह और धर्मेंद्र मलिक भी श्रद्धांजलि सभा में शामिल हुए। इसके अलावा स्थानीय किसान नेता भी मृतकों को श्रद्धांजलि देने के लिए पहुंचे। प्रियंका गांधी, कांग्रेस के अन्य नेताओं के साथ कार्यक्रम स्थल पर पहुंचीं। श्रद्धांजलि देने के लिए पहुंचे नेताओं में समाजवादी पार्टी के जिलाध्यक्ष रामपाल सिंह यादव, डॉ. आर.ए. उस्मानी और अन्य नेता भी शामिल थे। कांग्रेस प्रवक्ता जावेद अहमद वारसी ने बताया कि घायल किसानों ने प्रियंका से मिलकर उनका धन्यवाद व्यक्त किया। वारसी ने आरोप लगाया कि प्रियंका का काफिला सुबह आठ बजे लखनऊ विमानतल से लखीमपुर के लिए निकला था, जिसे भाजपा सरकार के इशारे पर लखीमपुर में तय मार्ग से दूसरी तरफ मोड़कर भटकाने की कोशिश की गई ताकि वह अंतिम अरदास में समय पर न पहुंच सकें। राष्ट्रीय लोकदल (रालोद) अध्यक्ष जयंत चौधरी भी लखीमपुर खीरी पहुंचे और श्रद्धांजलि अर्पित की। लखीमपुर जाने के लिए बरेली हवाई अड्डे पहुंचे चौधरी को प्रशासन ने करीब 45 मिनट तक रोका और बाद में उनके सुरक्षाकर्मियों के साथ ही आगे बढ़ने दिया गया। रालोद कार्यकर्ताओं ने हवाई अड्डे के गेट पर धरना भी दिया।