नई दिल्ली। लेह से आये एक राजनीतिक प्रतिनिधिमंडल ने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के साथ बैठक के बाद स्थानीय लेह लद्दाख स्वायत्तशासी पर्वतीय विकास परिषद के चुनाव का बहिष्कार वापस लिये जाने की रविवार को घोषणा की। केंद्रीय राज्य मंत्री (युवा एवं खेल मामले) किरेन रिजिजू ने यहां एक संयुक्त प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि सरकार ने संविधान की छठवीं अनुसूची के तहत लद्दाखी लोगों के संरक्षण को लेकर चर्चा के लिए तैयार है।
उन्होंने कहा, ‘‘ प्रतिनिधिमंडल को आश्वासन दिया गया था कि भाषा, जनसांख्यिकी, जातीयता, भूमि और नौकरियों से संबंधित सभी मुद्दों पर सकारात्मक रूप से ध्यान दिया जाएगा। ‘पीपुल्स मूवमेंट फॉर कॉन्स्टीट्यूशनल सेफगार्ड फॉर सिक्स्थ शेड्यूल्ड ’के तत्वावधान में लेह और कारगिल जिलों के प्रतिनिधियों के प्रतिनिधिमंडल और केंद्रीय गृह मंत्रालय के बीच लद्दाख परिषद के चुनाव के समापन के 15 दिन बाद बातचीत शुरू होगी।
इस संबंध में कोई भी निर्णय लेह और कारगिल के प्रतिनिधियों के परामर्श से लिया जायेगा।’’ इस मौके पर पूर्व सांसद थिकसे रिमपोचे ने कहा, ‘‘ गृह मंत्री के साथ हमारी बैठक बहुत अच्छी रही। उन्होंने हमें आश्वस्त किया है कि वह हमें छठी अनुसूची से अधिक ही देंगे और गृह राज्य मंत्री जी किशन रेड्डी सोमवार को लद्दाख जाएंगे तथा लेह में सभी राजनीतिक समूहों से बात करेंगे।’’
एक प्रश्न के उत्तर में रिमपोचे ने कहा कि अगर केंद्र लद्दाख के लोगों की उम्मीदों को पूरा करने में विफल रहता है, तो वे अपनी मांगों को लेकर दबाव बनाने के लिए लोकतांत्रिक तरीके से विरोध करेंगे। इससे पहले 23 सितंबर को लद्दाख में भाजपा और अन्य राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों ने इस साल 16 अक्टूबर को होने वाले स्थानीय निकाय चुनाव के बहिष्कार करने का आह्वन किया था।