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मोदी ने उत्तराखंड में नमामि गंगे की आठ परियोजनाओं का किया लोकार्पण

By Dabangdunia News Service | Publish Date: Sep 29 2020 4:48PM | Updated Date: Sep 29 2020 4:49PM
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देहरादून। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को उत्तराखंड में नमामि गंगे की आठ परियोजनाओं को वर्चुअल लोकार्पण किया। इस अवसर पर मोदी ने रोविंग डाउन द गंगेज तथा ग्राम पंचायतों और पानी समितियों के लिए बनाई गई मार्गदर्शिका का विमोचन और जल जीवन मिशन के लोगो का भी अनावरण किया। 

मोदी ने उत्तराखण्डवासियों को बधाई देते हुए कहा कि मां गंगा हमारे सांस्कृतिक वैभव और आस्था से तो जुड़ी है, साथ ही लगभग आधी आबादी को आर्थिक रूप से समृद्ध भी करती है। नमामि गंगे मिशन, नई सोच और नई एप्रोच के साथ शुरू किया गया। उन्होंने कहा कि यह देश का सबसे बडा नदी संरक्षण अभियान है। इसमें समन्वित रूप से काम किए गए। 

उन्होंने कहा कि गंगा जी में गंदा पानी गिरने से रोकने के लिए एसटीपी का निर्माण किया जा रहा है, अगले 15 वर्षों की आवश्यकता के अनुसार एसटीपी की क्षमता रखी गई, गंगा के किनारे करीब 100 शहरों और पांच हजार गांवों को खुले में शौच से मुक्त किया गया है और गंगा की सहायक नदियों को भी प्रदूषण से मुक्त रखने का काम किया जा रहा है। 

उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड में नमामि गंगे के अंतर्गत लगभग सभी प्रोजेक्ट पूरे हो गए हैं। राज्य में छह वर्ष में सीवेज ट्रीटमेंट की क्षमता को चार गुना कर दिया गया है। चंदे्रश्वर नाले सहित सभी नालों को टैप कर दिया गया है। उन्होंने कहा कि यहां देश का पहला चार मंजिला एसटीपी शुरू हो चुका है। अगले वर्ष हरिद्वार कुम्भ मेले में श्रद्धालु गंगा की निर्मलता का अनुभव लेंगे। सैकड़ों घाटों का सौंदर्यीकरण किया गया है। उन्होंने कहा कि साथ ही रिवर फ्रंट भी बनकर तैयार है। गंगा म्यूजियम से हरिद्वार आने वाले लोग गंगा से जुड़ी विरासत को समझ पाएंगे। 

प्रधानमंत्री ने कहा कि गंगा के निकटवर्ती पूरे क्षेत्र की अर्थव्यवस्था और पर्यावरण पर ध्यान दिया जा रहा है। यहां जैविक खेती और औषधीय पौधों की खेती की योजना है। आर्गेनिक फार्मिंग कॉरिडोर विकसित किया जा रहा है। मिशन डॉल्फिन से डॉल्फिन संवर्धन में मदद मिलेगी।  उन्होंने कहा कि पानी की महत्ता को माता-बहनों से अधिक कौन समझ सकता है। हमने जल से जुड़े मंत्रालयों को एक कर जलशक्ति मंत्रालय का गठन किया। 

जल जीवन मिशन के तहत हर घर को नल से जल का लक्ष्य लिया गया है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत के नेतृत्व में उत्तराखण्ड सरकार एक कदम और आगे बढ़ी है। उन्होंने केवल एक रूपए में पानी का कनेक्शन देने का बीड़ा उठाया है। वर्ष 2022 तक हर घर नल से जल देने का लक्ष्य रखा गया है। उत्तराखण्ड में कोरोना काल में भी पिछले 4-5 माह में 50 हजार परिवारों को पानी का कनेक्शन दिया गया है जो कि उत्तराखण्ड सरकार के संकल्प को दर्शाता है। 

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