नई दिल्ली। पूर्वी लद्दाख में चीन के साथ जारी तनाव भले ही कम होता दिख रहा हो, लेकिन भारतीय सेना अपनी ताकत में इजाफा करने के काम में जुटी है। भारतीय सेना ने अमेरिका से 1.42 लाख सिग-716 असॉल्ट राइफलों के बाद अब इजरायल से एंटी टैंक गाइडेड मिसाइल और हेरॉन ड्रोन खरीदने का ऑर्डर दे रही है।
भारतीय थल सेना, नौसेना और वायु सेना में पहले से ही मानवरहित हेरॉन ड्रोन (हेरॉन यूएवी) हैं। भारतीय सैन्य दलों द्वारा लद्दाख सेक्टर में इसका इस्तेमाल भी किया जा रहा है। सरकारी सूत्रों ने बताया कि वायु सेना की जरूरतों को पूरा करने के लिए उसके मौजूदा बेड़े में और हेरोन यूएवी की जरूरत थी। इसको पूरा करने के लिए खरीद की योजना बनाई जा रही है।
हेरॉन ड्रोन लगातार दो दिनों से अधिक समय तक उड़ान भरने और 10 हजार मीटर की ऊंचाई से टोल लेने में सक्षम है। भारतीय सेनाएं यूएवी के आर्म्ड वर्जन को हासिल करने की तैयारी में है। हेरॉन ड्रोन लगातार दो दिनों से अधिक समय तक उड़ान भरने और 10 हजार मीटर की ऊंचाई से टोल लेने में सक्षम है। भारतीय सेनाएं यूएवी के आर्म्ड वर्जन को हासिल करने की तैयारी में है। साथ ही भारतीय वायुसेना के महत्वाकांक्षी 'ऑपरेशन चीता' के तहत मौजूदा यूएपी को अपग्रेड कर उन्हें लड़ाकू यूएवी में बदलने की भी योजना है।