लंदन। इंग्लैंड के पूर्व बल्लेबाज माइकल कैरबेरी का कहना है कि क्रिकेट नस्लभेद से पूरी तरह ग्रस्त है और यहां अश्वेत लोगों पर ध्यान नहीं दिया जाता है। अमेरिका में अश्वेत नागरिक जॉर्ज फ्लॉयड की पुलिस हिरासत में मौत के बाद खेल जगत ने नस्लभेद के खिलाफ आवाज बुलंद की है।
कैरबेरी ने कहा, ‘‘क्रिकेट नस्लभेद से पूरी तरह ग्रसित है। क्रिकेट में दिक्कत यह है कि यहां अश्वेत लोगों पर ध्यान नहीं दिया जाता है। इंग्लिश क्रिकेट में भी देखें तो कोई भी अश्वेत व्यक्ति इंग्लिश क्रिकेट में बड़े पद पर नहीं है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘अगर आप इस वक्त इंग्लिश क्रिकेट को देखें तो जो लोग उच्च पदों पर हैं और निर्णय लेते हैं उनमें से क्या कोई भी अश्वेत व्यक्ति है। क्या कभी किसी अश्वेत व्यक्ति को इंग्लिश क्रिकेट में बड़े फैसले लेने का मौका दिया गया है। मेरे ख्याल से तो नहीं।’’
कैरबेरी ने कहा, ‘‘आप इंग्लैंड के कोचों को देखें। क्या उनमें से कभी कोई अश्वेत मुख्य कोच बना है। कभी भी नहीं। ऐसे ही कभी किसी अश्वेत खिलाड़ी को इंग्लैंड ने अपना कप्तान बनाया। आप काउंटी क्रिकेट में भी देखें। काउंटी में कितने अश्वेत कोच हैं, कोई भी नहीं जबकि मैं कई लोगों को जानता हूं जो इस काम के लिए उपयुक्त हैं।यदि आज मैं अश्वेत युवा होता तो मैं किसकी तरफ प्रेरणा के लिए देखता।’’