कराची। पाकिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति परवेज मुशर्रफ पाकिस्तान में जुलाई में होने वाले चुनाव का हिस्सा नहीं बन सकेंगे। दरअसल मुशर्रफ अब पाकिस्तान हीं लौटने वाले इसके लिए उन्होंने सुप्रीम कोर्ट के आदेश को जिम्मेदार ठहराया है। उनका कहना है कि वह वापसी के लिए तैयार थे, लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने उनकी गिरफ्तारी का आदेश जारी कर दिया। इसकी वजह से वह अपना इरादा बदलने पर मजबूर हो गए। मुशर्रफ ने चितराल और कराची से नामांकन भरा था।
इधर, स्वदेश वापसी नहीं होने पर चितराल सीट से उनका नामांकन चुनाव आयोग ने रद्द कर दिया है। चुनाव अधिकारी से मिले समन के बाद उन्होंने कराची सीट से भी अपना नाम वापस ले लिया। देशद्रोह के आरोपों में घिरे 74 साल के मुशर्रफ 2016 से ही पाकिस्तान से बाहर हैं। इस महीने की शुरूआत में सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें 25 जुलाई को होने वाले आम चुनाव में नामांकन भरने की अनुमति इस शर्त पर दी थी कि वह 13 जून तक पाकिस्तान लौट आएंगे। कोर्ट ने अगस्त में पेशी तक उनकी गिरफ्तारी पर भी रोक लगा दी थी।
वीडियो लिंक के जरिये मुशर्रफ ने कहा, 'सुप्रीम कोर्ट के आदेश ने मुझे अपने इरादे को लेकर दोबारा सोचने पर विवश कर दिया। कोर्ट में पेशी के तुरंत बाद यदि मुझे गिरफ्तार कर लिया गया तो मेरे लौटने का कोई फायदा नहीं होगा। पूरी दुनिया जानती है कि मैं कायर नहीं हूं, लेकिन अब मैं सही समय का इंतजार करूंगा।'