टोक्यो। स्कूल घोटाले के मामले में फंसी जापान के प्रधानमंत्री शिंजो आबे की पत्नी आकई का नाम अब इस घोटाले से हटा दिया गया है। आकई का नाम मामले से हटाए जाने को लेकर प्रधानमंत्री पर मामले को रफा-दफा करने का आरोप लगाया जा रहा है।
मामले में स्वयं प्रधानमंत्री और उनके करीबी वित्त मंत्री तारो आसो का भी नाम उछाया गया है। आबे ने बार-बार कहा है कि घोटाले में उनकी पत्नी अथवा उनके शामिल होने के साक्ष्य सामने आते हैं तो वह इस्तीफा दे देंगे। इस बीच वित्त मंत्री ने कहा है कि वह इस मामले को लेकर इस्तीफा नहीं देंगे। एक रिपोर्ट के अनुसार अपने कार्यकाल के छठे वर्ष में पहुंच चुके आबे भी इस मामले में संदेह के घेरे में हैं क्योंकि एक स्कूल संचालक को सरकारी जमीन देने में भारी छूट दी गई थी। उस स्कूल से श्री आबे की पत्नी भी जुड़ी हुई थीं।
घोटाले में नाम आने के कारण गत वर्ष आबे की लोकप्रियता में गिरावट भी आई थी। हालांकि इसके बाद इसमें कुछ सुधार हुआ लेकिन कई ताजा खुलासों के बाद आबे और उनका मंत्रिमंडल संदेह के घेरे में है। हालांकि आबे ने खुद के या अपनी पत्नी की ओर से स्कूल संचालक मोरीतोमो गाकुन को किसी प्रकार की मदद करने के आरोपों से साफ इंकार किया है जिसे जमीन उपलब्ध कराई गई। उन्होंने कहा कि यदि वह पक्षपात करने के दोषी पाए जाते हैं तो तत्काल अपने पद से इस्तीफा दे देंगें। वहीं इस मामले को दबाने के प्रयास के आरोप में आबे की लोकप्रियता घट सकती है और सत्तारूढ़ लिबरल डेमोक्रेटिक पार्टी के नेता के रूप में तीसरे कार्यकाल की उनकी उम्मीदों पर भी पानी फिर सकता है।