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2040 तक 500 मिलियन टन प्रतिदिन हो जाएगा कच्चा तेल

By Dabangdunia News Service | Publish Date: Sep 26 2018 12:14PM | Updated Date: Sep 26 2018 12:15PM
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मुंबई। भारत की कच्चे तेल की मांग साल 2040 तक 500 मिलियन टन प्रतिदिन हो जाएगी। हालांकि तेल की कीमतों में लगातार हो रही बढ़ोतरी से ग्रोथ रेट पर भी असर पड़ेगा। यह बात इंडियन आॅइल कॉरपोरेशन के एग्जिक्यूटिव डायरेक्टर पार्थ घोष ने कही है। घोष ने यह बात सिंगापुर में एशिया पैसफिक पेट्रोलियम कॉन्फ्रेंस के दौरान कही। 
 
घोष ने कहा कि 2040 तक वैश्विक स्तर पर कच्चे तेल की मांग 15.8 मिलियन बैरल प्रतिदिन हो जाएगी। साथ ही उन्होंने कहा कि वित्त वर्ष 2030 तक भारत की रिफाइनिंग क्षमता 439 मिलियन टन प्रतिदिन हो जाएगी क्योंकि अभी मौजूद रिफाइनरी लगातार अपने इन्फ्रास्ट्रक्चर में बदलाव ला रही हैं। इसके अलावा डोमेस्टिक सेक्टर में डिमांड इसी समयसीमा के दौरान 356 मिलियन प्रतिदिन तक बढ़ने की उम्मीद है। भारत का मजबूत आर्थिक विकास और बड़ी संख्या में यहां के युवा इसमें एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे।
 
हालांकि, 2024 से 2025 तक आॅइल डिमांड ग्रोथ में थोड़ी सुस्ती देखने को मिलेगी। घोष ने कहा कि इस सिलसिले में सबसे बड़ी रुकावट तेल की कीमतों में लगातार हो रही बढ़ोतरी है। उन्होंने बताया कि तेल की कीमतों से भारत की अर्थव्यवस्था पर काफी असर पड़ता है। कहा जाता है कि एक बैरल की कीमत 10 डॉलर बढ़ने से भारत की जीडीपी 0.2 से 0.3 प्रतिशत तक कम हो जाती है। आपको बता दें कि कच्चे तेल की लगातार बढ़ती कीमत और गिरता रुपया दोनों ही चीज इस वक्त भारत की परेशानी बने हुए हैं। इसे देखते हुए भारत कच्चे तेल के आयात को कम करने की बात सोच रहा है। हालांकि, इससे तेल की कीमत और बढ़ेगी या उसका कोई विकल्प खोजा जाएगा या नहीं इसपर कुछ साफ-साफ सामने नहीं आया है।
 
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