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इफको मार्च से बनायेगा नैनो उर्वरक, मूल्य होगा कम

By Dabangdunia News Service | Publish Date: Dec 3 2019 5:11PM | Updated Date: Dec 3 2019 5:11PM
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नई दिल्ली। इंडियन फारमर्स फर्टिलाइजर कोआपरेटिव लिमिटेड (इफको) अगले वर्ष मार्च से नयी नैनों प्रौद्योगिकी आधारित नाइट्रोजन उर्वरक का उत्पादन शुरु कर देगा जिसके बाजार में उपलब्ध हो जाने से एक बोरी यूरिया की जगह एक बोतल नैनो उत्पाद से काम चल जायेगा।  एक बोतल नैनों यूरिया का मूल्य लगभग 240 रुपये होगा।  इसका मूल्य परम्परागत यूरिया के एक बैग  की तुलना में दस प्रतिशत कम होगा। कम्पनी के प्रबंध निदेशक उदय शंकर अवस्थी ने मंगलवार को बताया कि गुजरात के अहमदाबाद स्थित कलोल कारखाने में नाइट्रोजन आधारित उर्वरक का उत्पादन किया जायेगा।
 
यह पूरी तरह से मेक इन इंडिया के तहत होगा जिससे  प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के  2022 तक किसानों की आय दोगुना करने के लक्ष्य को पूरा करने में मदद मिलेगी । कम्पनी की योजना सालाना ढाई करोड़ बोतल उत्पादन की  है। अवस्थी ने बताया कि 500 मिलीलीटर की  बोतल नैनों यूरिया  45 किलो यूरिया के बराबर होगा। इस नये उत्पाद से यूरिया के प्रयोग से देश में 50 प्रतिशत तक खपत कम होगी और फसलों का उत्पादन भी बढेगा । देश में वर्तमान में तीन करोड़ टन यूरिया की खपत  है और किसान इसका अधिक इस्तेमाल करते हैं।
 
नये उर्वरक के प्रयोग से  अब उसके खर्च में कमी आयेगी । अभी प्रति एकड़ 100 किलोग्राम यूरिया की जरुरत होती है। इस नये मामले में प्रति एकड़ एक बोतल नैनो उर्वरक या एक बैग यूरिया की जरुरत होगी। इफको, भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद की सहायता से देश में 11000 स्थानों पर प्रयोग कर रही है । इसके अलावा 5000 अन्य स्थानों पर भी इसकी जांच की जा रही है । नैनो नाइट्रोजन उर्वरक का हरेक जलवायु क्षेत्र और मिट्टी में जांच की जायेगी । इस नयी तकनीक से उर्वरक पर सब्सिडी  आधी रह जायेगी। 
 
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