नई दिल्ली। राफेल डील को लेकर नरेंद्र मोदी सरकार को घेरने वाली कांग्रेस ने एक रिपोर्ट के आधार पर शुक्रवार को कहा कि जिस समय फ्रांस के राष्ट्रपति फ्रांस्वा ओलांद और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बीच 36 राफेल लड़ाकू विमानों की खरीद के लिए सहमति पत्र (एमओयू) पर हस्ताक्षर हुए उसके दो दिन पहले अनिल अंबानी की रिलायंस इंटरटेनमेंट कंपनी ने ओलांद की पार्टनर जुली गायेट के साथ एक फिल्म प्रोड्यूस करने का करार किया। रिपोर्ट के मुताबिक इसके एक साल बाद अंबानी की रिलायंस डिफेंस डसाल्ट रिलायंस एयरोस्पेस लिमिटेड (डीआरएएल) के जरिए 59,000 करोड़ रुपए की लागत वाली राफेल डील के आॅफशेट प्रोग्राम का हिस्सा बन गई।
डीआरएएल में रिलायंस की 51 फीसदी और राफेल की निर्माता कंपनी डसाल्ट एविएशन की 49 प्रतिशत हिस्सेदारी है। रिपोर्ट के अनुसार 24 जनवरी 2016 को रिलायंस इंटरटेनमेंट ने घोषणा की कि एक फ्रेंच फिल्म का संयुक्त रूप से निर्माण करने के लिए उसने गायेट की कंपनी रोग इंटरनेशनल के साथ करार किया है। जबकि 26 जनवरी 2016 को भारत और फ्रांस के बीच 36 लड़ाकू विमानों की खरीद के लिए एमएयू पर हस्ताक्षर हुए। गायेट की जिस फिल्म में अंबानी की कंपनी ने पैसा लगाया उस फिल्म का निर्देशन फ्रेंच अभिनेता एवं फिल्म निमार्ता सर्गे हेजानाविसियस ने किया।
यह फिल्म 'टाउट ला-हौट' नाम से 20 दिसंबर 2017 को रिलीज हुई। इसके कुछ समय बाद डसाल्ट एविएशन के चेयरमैन एरिक ट्रैपियर और अंबानी ने फ्रांस के तत्कालीन रक्षा मंत्री फ्लोरेंस पार्ली, केंद्रीय सड़क एवं परिवहन मंत्री नितिन गडकरी, महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़नवीस, भारत में फ्रांस के राजदूत अलेक्जेंडर जीगलर की मौजूदगी में नागपुर में डीआरएएल की मैन्युफैक्चरिंग इकाई की आधारशिला रखी।