नई दिल्ली। लोक जनशक्ति पार्टी ने बिहार को विशेष राज्य का दर्जा देने की मांग दोहराते हुए आज कहा कि इससे उसके पिछड़ेपन की समस्या दूर होगी। लोजपा प्रमुख एवं केन्द्रीय मंत्री राम विलास पासवान ने यहां संवाददाता सम्मेलन में कहा कि बिहार जब विभाजन नहीं हुआ था तो उसकी आर्थिक स्थिति अच्छी थी लेकिन झारखंड के अलग होने के बाद सभी खनिज और उद्योग वहां चले गए। उन्होंने कहा कि बिहार की विशेष राज्य के दर्जे की मांग को आन्ध्र प्रदेश के साथ नहीं जोड़ जाना चाहिए क्योंकि वह एक समृद्ध राज्य है जबकि बिहार काफी पिछड़ा है।
उन्होंने कहा कि वाजपेयी सरकार के दौरान बिहार के पिछड़ेपन को लेकर एक समिति गठित की गयी थी जिसके बाद से अब तक यह मामला लंबित है। लोजपा नेता ने कहा कि चार साल पहले बिहार में सार्वजनिक वितरण प्रणाली की दुकानों से राशन नहीं मिलने की भारी शिकायत थी लेकिन अब यह समस्या नहीं है।
वहां पॉस मशीन की कमी की समस्या है जिसके समाधान के प्रयास किये जा रहे है। पासवान ने इस बार उत्तर प्रदेश में गेहूं की रिकार्ड खरीद की चर्चा करते हुए कहा कि वहां 53 लाख टन गेहूं की खरीद हुयी है और उसके रखने को लेकर समस्या पैदा हो रही है। पहले इस राज्य में भारतीय खाद्य निगम 30 - 32 लाख गेहूं की ही खरीद करता था। उत्तर प्रदेश के गेहूं को पूर्वोत्तर क्षेत्र के राज्यों में भेजने का प्रयास किए जा रहे है।