29 Mar 2024, 06:36:08 के समाचार About us Android App Advertisement Contact us app facebook twitter android
news » National

मप्र-छत्तीसगढ़ के अफसर और कारोबारी बेनामी संपत्ति के घेरे में

By Dabangdunia News Service | Publish Date: Jun 29 2018 10:20AM | Updated Date: Jun 29 2018 10:20AM
  • facebook
  • twitter
  • googleplus
  • linkedin

नई दिल्ली। नोटबंदी के बाद मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ में सर्वाधिक बेनामी संपत्तियों का खुलासा हुआ है। मध्यप्रदेश और  छत्तीसगढ़ के आयकर विभाग के प्रधान निर्देशक इंवेस्टिगेशन विंग आरके पारिवाल के मुताबिक, दोनों ही राज्यों में देश में सर्वाधिक 325 बेनामी संपत्तियों का पदार्फाश किया गया है। इन संपत्तियों की मौजूदा सरकारी कीमत ढाई सौ करोड़ के लगभग आंकी गई है, जबकि इसका बाजार भाव कही ज्यादा हो सकता है। 
 
पालिवाल के मुताबिक, बेनामी संपत्ति बनाने वाले शख्स ज्यादातर आईएएस अफसर और कारोबारी हैं। सभी के खिलाफ बेनामी ट्रांजेक्शन एंड प्रोहिवेशन अमेंडमेंट एक्ट 2016 के तहत कार्रवाई होगी। इस कार्रवाई में दोषी पाए गए शख्स के खिलाफ धारा 53 के तहत जुर्माने के अलावा एक से सात साल तक सजा का प्रावधान है।
 
यहां पाई गईं 
बेनामी संपत्तियांआयकर विभाग के मुताबिक बेनामी संपत्तियों की पड़ताल छत्तीसगढ़ में रायपुर, रायगढ़ और मध्यप्रदेश में भोपाल, कटनी, ग्वालियर, पन्ना, जबलपुर और सतना में की गई थी। कुछ लोगों की संपत्ति के दस्तावेज हरियाणा के फरीदाबाद जिले के पाए गए थे। जांच के बाद यह संपत्तियां भी बेनामी पाई गईं। देश में सर्वाधिक बेनामी संपत्ति छत्तीसगढ़ और मध्यप्रदेश में चिन्हित की गई। इसमें इन दोनों ही राज्यों का आंकड़ा 325 है। इसके बाद राजस्थान में 202, महाराष्ट्र में 180 और गुजरात में 140 बेनामी संपत्तियां उजागर हुई हैं।
 
ये अफसर हैं आयकर जांच के घेरे में
- अरविंद जोशी, सीनियर आईएएस अधिकारी 
- एमए खान 
- सेवकराम भारती 
कारोबारी
नितिन अग्रवाल
मनीष हेमलता सरावगी
सुशील वासवानी
संतोष रामतानी (सुरभि ग्रुप) 
पवन अहलूवालिया (भाटिया एनर्जी)
एम.वाय.चौधरी 
 
इनके अलावा पवन सरैया नामक टेक्नोक्रेट के पास भी करोड़ों की बेनामी संपत्ति बरामद हुई है। आयकर विभाग के मुताबिक, धीरू गौर नामक एक काल्पनिक शख्स के नाम से भी करोड़ों का निवेश किया गया है। यह संपत्ति भी अटैच की जाएगी। 
 
डेढ़ हजार नाम और आ सकते हैं सामने
बताया जा रहा है कि ब्लैकमनी के जरिये अवैध संपत्ति अर्जित करने वालों की यह पहली खेप है। दोनों ही राज्यों में पंद्रह सौ से ज्यादा ऐसे आईएएस, आईपीएस अधिकारी , व्यापारी और उद्योगपति और राजनेता हैं, जिन्होंने भी दूसरे के नाम पर लाखों की संपत्ति खरीदी है। ऐसे लोगों के पड़ताल अंतिम चरण में है। जल्द ही उनका भी खुलासा होगा। यह भी बताया जा रहा है कि कुछ विशेष प्रकरणों में ईडी को भी शामिल किया जाएगा ताकि विभिन्न माध्यमों से देश से बाहर किए गए निवेश की हकीकत सामने आ सके।
  • facebook
  • twitter
  • googleplus
  • linkedin

More News »