गुरुग्राम। रूस में होने जा रहे फीफा वर्ल्ड कप-2018 के दौरान साइबर सिटी की फुटबॉल भी मैदान में नजर आएगी। फीफा की गाइडलाइन के अनुसार, विशेष तौर पर फुटबॉल को मान्यता मिली है। इस फुटबॉल को वर्ल्डकप के लिए खासतौर पर तैयार किया गया है जिसे अन्य देशों की फुटबॉल के साथ मैदान पर सजाया जाएगा। 14 जून से 15 जुलाई तक रूस में होने जा रहे फीफा वर्ल्ड कप-2018 को लेकर पूरे विश्व में धूम मची हुई है।
फेडरेशन इंटरनेशनल डी फुटबॉल एसोसिएशन (फीफा) थर्मो स्टिच फुटबॉल से मुकाबला कराएगा। वर्ल्ड कप से पहले ही फीफा की ओर से नियम कायदे पूरे करने वाली फुटबॉल कंपनियों से विशेष फुटबॉल मंगाकर उन्हें मैदान में बतौर डिस्प्ले रखा जाता है। खास बात यह है कि फीफा के मैदान पर साइबर सिटी की फुटबॉल भी नजर आएगी। भारत की इकलौती खेल उत्पाद निर्माता कंपनी कोस्को इंडिया लिमिटेड को यह मौका दिया गया है। इसे लेकर गुरुग्राम स्थित कंपनी के मुख्य प्लांट पर जबरदस्त तैयारी चल रही है।
र्मो स्टिच फुटबॉल सबकी पसंद
कंपनी के प्रोडक्शन मैनेजर अमित जैन के मुताबिक, मौजूदा समय में थर्मो स्टिच फुटबॉल खिलाड़ी सबसे ज्यादा पसंद कर रहे हैं। वर्ल्ड कप में थर्मो स्टिच फुटबॉल के आधार कंपनी का फीफा से मान्यता प्राप्त मॉडल 'प्लेटिना' फुटबॉल मैदान में नजर आएगी। उन्होंने बताया कि 2017 में भारत में हुए अंडर-17 फीफा वर्ल्ड कप में भी थर्मो स्टिच फुटबॉल से ही खेला गया था।
फीफा की गाइडलाइन
फेडरेशन इंटरनेशनल डी फुटबॉल एसोसिएशन (फीफा) की गाइडलाइन के अनुसार, गेंद को बाउंस टेस्ट, एयर रिटेनसिंग टेस्ट, शूटिंग टेस्ट, स्फिरिसिटी (गोलाई) टेस्ट, भार टेस्ट से गुजरना पड़ता है। जिसमें 68.5 से 69.5 सेंटीमीटर आकार के अलावा 420 से 445 ग्राम वजन की फुटबॉल को फीफा की ओर से मान्यता मिलती है।
मैसी-रोनाल्डो मारेंगे टेलस्टार बॉल को किक अमित जैन ने बताया कि इस बार थर्मो स्टिच फुटबॉल उपयोग में ली जाएगी, जिसे ‘टेलस्टार बॉल’ नाम दिया गया है। यह फुटबॉल ब्यूटायल ब्लेडर (एक तरह की रबड़) पर फोम की लेयरिंग के साथ पेस्टिंग आधार पर पीयू बॉल होती है। किक मारने पर यह हवा में ज्यादा स्विंग होने की बजाय सीधी जाती है।