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2021 तक राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र को बनाएंगे कॉर्नियल अन्धता-मुक्त: दधीचि देहदान समिति

By Dabangdunia News Service | Publish Date: Sep 22 2019 1:55AM | Updated Date: Sep 22 2019 1:55AM
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नई दिल्ली। दधीचि देहदान समिति ने 2021 तक राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र को कॉर्नियल अन्धता मुक्त बनाने का लक्ष्य रखा है और इस लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए समिति व्यापक स्तर पर जनजागरण अभियान चलाएगी। दिल्ली में दो बड़े अस्पताल एम्स और गुरुनानक नेत्र चिकित्सालय में कॉर्नियल अंधता का इलाज नेत्रदान के माध्यम से किया जाता है। यहां वर्तमान प्रतीक्षा सूची क्रमश: दो हजार और एक हजार है। इस लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए दधीचि देहदान समिति व्यापक स्तर पर जनजागरण अभियान चलायेगी। दधीचि देहदान समिति के संरक्षक और संस्थापक एडवोकेट आलोक कुमार ने दिल्ली के हरियाणा भवन में दिल्ली पत्रकार संघ की ओर से शनिवार को आयोजित कार्यक्रम में बताया कि देहदान विश्व में सर्वोच्च महादान है और मृत्यु के पश्चात भी यदि मानवता के कार्य में इस देह का उपयोग हो जाए, तो इससे बड़ा पुण्यकर्म कोई हो नहीं सकता। 

उन्होंने बताया कि 22 वर्ष पहले संस्था ने इस पुनीत कार्य की शुरुआत की, जिसमें अब तक 900 से अधिक नेत्रदान के साथ-साथ सम्पूर्ण शरीर के 275 दान सम्पन्न किए जा चुके हैं। ये आंकड़ा 2010 के बाद का है। कुमार ने  कहा कि वर्तमान समय में मेडिकल कॉलेजों और अस्पतालों में देहदान और अंगदान की समुचित एवं सुचारू व्यवस्था होनी चाहिए, जिससे सामान्य जन, स्वयं की प्रेरणा से अंगदान और देहदान का संकल्प ले सकें। इस पूरी प्रक्रिया में परिवार की भूमिका अत्यंत महत्वपूर्ण है, इसीलिए जो भी संकल्प लेना चाहें, उन्हें परिवार की सहमति लेनी चाहिए। समिति इस मामले के सभी तकनीकि पहलुओं पर काम करती है, इसीलिए मस्तिष्क-मृत्यु की अवस्था में निश्चित समयावधि में मृतक के अंगों को जरूरतमंदों तक पहुंचा दिया जाता है। समिति केवल सरकारी संस्थानों को ही अंग या देह पहुंचाती है। सामान्य मुत्यु की अवस्था में भी नेत्रों, त्वचा एवं हड्डियों के दान के लिए शुरुआती कुछेक घंटों का समय महत्वपूर्ण रहता है। 

कुमार  ने बताया कि समिति  के  प्रयासों से ज्यादातर धर्मगुरुओं ने अपनी सार्वजनिक सभाओं में देहदान एवं अंगदान को धर्म सम्मत बताना शुरू किया है, जिससे समाज में बीते कुछ वर्षों से इस विषय में जागरुकता बढ़ी है। इसीलिए लगभग तीन साल पहले सिर्फ सात दिन के बच्चे का सबसे बड़ा देहदान हुआ। इसी कारण राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद ने दधीचि देहदान समिति के कार्यक्रम में उस बच्चे के पिता को राष्ट्रपति भवन में मंच पर बुलाकर सम्मानित भी किया। इस कार्यक्रम में समिति के महामंत्री कमल खुराना और उपाध्यक्ष विशाल चड्ढा उपस्थित थे। दिल्ली पत्रकार संघ के अध्यक्ष अनुराग पुनेठा, महासचिव सचिन बुधौलिया और उपाध्यक्ष अतुल गंगवार ने कार्यक्रम का संचालन किया। इस अवसर पर नेशनल यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट के महासचिव मनोज वर्मा, वरिष्ठ पत्रकार अनिल पांडे, आलोक गोस्वामी, आदित्य भारद्वाज, निशि भाट, राज चावला, मनीष ठाकुर, श्याम किशोर, विकास कौशिक और जितेन्द्र कुमार  समेत कई पत्रकार मौजूद रहे।

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